Wasim Jafar Statement: भारत ने South Africa से पहले टेस्ट में हार के बाद पिच को लेकर एक नई बहस का आगाज किया है। यह हार खासतौर पर उन पिचों को लेकर चर्चा में आई है जो स्पिनरों के लिए मददगार साबित हो रही हैं, और इस बार Eden Gardens की पिच पर South Africa स्पिनरों ने शानदार प्रदर्शन किया। साउथ अफ्रीका ने इस मैच में केवल तीन दिनों में जीत दर्ज कर ली और सीरीज में 1-0 की बढ़त बना ली। इस हार के बाद सोशल मीडिया पर भारतीय क्रिकेट की बड़ी हस्तियों ने पिच को लेकर अपने opinion share किए।
Wasim Jafar Statement: Jafar का पिच को लेकर Opinion

भारत के पूर्व बल्लेबाज Wasim Jafar ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर अपनी राय दी और कहा कि भारत को 2016-17 के पुराने दौर के पिचों की ओर लौटना चाहिए। जाफर ने यह भी बताया कि इस समय जिस तरह की पिचों पर मैच खेले जा रहे हैं, वे भारतीय स्पिनरों के लिए चुनौतीपूर्ण होती हैं क्योंकि इनमें विपक्षी टीम के स्पिनरों के लिए भी समान मदद मिलती है। उन्होंने यह भी कहा कि भारत को ऐसे पिचों से बचना चाहिए जो अधिक टर्न लेकर खेल को भारतीय स्पिनरों के लिए अनुकूल बनाती हैं।
जाफर ने कहा, “ऐसा लगता है कि हमने न्यूजीलैंड से हार से कोई सीख नहीं ली है। जब हम ऐसी पिचों पर खेलते हैं तो हमारे स्पिनरों और विपक्षी स्पिनरों के बीच का फर्क कम हो जाता है। हमें उन पारंपरिक भारतीय पिचों की ओर लौटने की जरूरत है, जो 2016-17 सीजन में विराट कोहली की कप्तानी में थीं, जब इंग्लैंड और न्यूजीलैंड ने भारत का दौरा किया था।”
Wasim Jafar Statement: पिच की भूमिका और भारतीय क्रिकेट का Future

भारत में क्रिकेट के खेल के दौरान पिच की अहमियत हमेशा से रही है। खासतौर पर जब टेस्ट मैचों की बात आती है, तो पिच का टर्न और उसकी पेस मैच का परिणाम तय कर सकते हैं। भारतीय क्रिकेट के पूर्व खिलाड़ी जाफर का मानना है कि पिच के प्रकार से मैच की प्रकृति बदल सकती है। भारत में ऐसी पिचों की आवश्यकता है, जो भारतीय स्पिनरों को फायदा दे, लेकिन वह उतनी ज्यादा न हों कि विपक्षी टीम के स्पिनरों को भी उतना ही फायदा हो। इस विवाद ने यह सवाल भी खड़ा किया है कि क्या भारतीय क्रिकेट को एक बार फिर से अपनी पिचों पर ध्यान देने की जरूरत है, खासतौर से जब वह अपने घरेलू मैदान पर खेलते हैं।
भारतीय क्रिकेट की रणनीति पर प्रभाव
भारत की हार के बाद यह बहस अब जोर पकड़ चुकी है कि क्या भारतीय टीम को अब पिच के चयन को लेकर नई रणनीति अपनानी चाहिए। ऐसे समय में जब भारतीय स्पिनरों को पिच से मदद मिलती है, तो विपक्षी टीम के स्पिनरों के लिए भी वही मदद मिल रही है, जो भारत के लिए चुनौतीपूर्ण हो सकती है। अब देखना यह होगा कि भारतीय क्रिकेट बोर्ड इस पिच विवाद पर क्या कदम उठाता है और आने वाले मैचों में कौन सी रणनीति अपनाई जाती है।
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