
रॉयल चैलेंजर्स बैंगलोर ने 9 साल बाद IPL फाइनल में जगह बनाई, पंजाब किंग्स को 101 रन पर समेटा। राजत पाटीदार की कप्तानी में टीम ने बेहतरीन गेंदबाजी की और मोहाली के मुल्लांपुर स्टेडियम में मैच जीता। भुवनेश्वर कुमार और यश दयाल ने शुरुआत में ही मैच RCB की ओर मोड़ दिया।
रॉयल चैलेंजर्स बैंगलोर ने आखिरकार कमाल कर ही दिया। 9 साल बाद टीम फिर से IPL के फाइनल में पहुंची है। राजत पाटीदार की कप्तानी में RCB ने पंजाब किंग्स को हराकर दमदार अंदाज में फाइनल में एंट्री मारी। इस बार टीम की ताकत उसकी बल्लेबाज़ी नहीं, बल्कि जबरदस्त गेंदबाज़ी रही, जिसने पंजाब को सिर्फ 101 रन पर समेट दिया।
मैच मोहाली के मुल्लांपुर स्टेडियम में हुआ, जहां पिच तेज़ गेंदबाज़ों के लिए मददगार थी। RCB ने इस मौके का पूरा फायदा उठाया। पहले चार ओवर में ही पंजाब के टॉप बैटर आउट हो गए। भुवनेश्वर कुमार और यश दयाल ने शुरुआत में ही मैच RCB की ओर मोड़ दिया। उसके बाद जोश हेजलवुड और सुयश शर्मा ने तीन-तीन विकेट लेकर पंजाब को पूरी तरह बैकफुट पर डाल दिया।
पंजाब के बल्लेबाज़ों की भी गलती रही। उन्होंने हालात को समझे बिना तेज़ी से रन बनाने की कोशिश की और गलत शॉट खेलकर आउट हो गए। ऐसे अहम मुकाबले में संयम से खेलना जरूरी होता है, लेकिन पंजाब के खिलाड़ी दबाव में बिखर गए।
बल्लेबाज़ी में भी RCB ने कोई गलती नहीं की। विराट कोहली चौथे ओवर में आउट हो गए, लेकिन फिल सॉल्ट ने तेज़ पचासा लगाकर मुकाबला एकतरफा कर दिया। उन्होंने सिर्फ 23 गेंदों में फिफ्टी पूरी की और अंत तक नाबाद 56 रन बनाए। कप्तान राजत पाटीदार भी 15 रन बनाकर नाबाद लौटे और छक्का मारकर मैच खत्म किया।
RCB ने IPL इतिहास में नौवीं बार प्लेऑफ में जगह बनाई है, लेकिन फाइनल में ये सिर्फ चौथा मौका है। 2009, 2011 और 2016 में टीम फाइनल हार चुकी है, लेकिन इस बार माहौल अलग दिख रहा है। राजत पाटीदार की कप्तानी में टीम पूरे जोश में है। उन्होंने गेंदबाज़ों पर भरोसा दिखाया और फालतू बदलाव नहीं किए।
अब RCB को बस एक जीत और चाहिए IPL ट्रॉफी उठाने के लिए। वहीं पंजाब को अभी एक और मौका मिलेगा, लेकिन उन्हें अपना आत्मविश्वास वापस लाना होगा।