Gambhir comment on Gill: भारतीय क्रिकेट में एक नया दौर शुरू हो गया है। 26 साल के Shubman Gill अब भारत की Test और ODI दोनों टीमों के कप्तान बन चुके हैं। ये फैसला तब लिया गया जब Rohit Sharma और Virat Kohli ने अचानक इंटरनेशनल क्रिकेट से संन्यास ले लिया। ऐसे समय में टीम को एक नए लीडर की ज़रूरत थी और बोर्ड ने ये बड़ी ज़िम्मेदारी Shubman Gill को सौंप दी।
Shubman Gill के कप्तान बनने का असली इम्तिहान तब शुरू हुआ जब उन्हें 2025 की इंग्लैंड टेस्ट सीरीज़ में टीम की अगुवाई करनी पड़ी जो कि Total पांच टेस्ट मैचों की मुश्किल सीरीज़ थी। यहां से उनका कप्तानी करियर शुरू हुआ और लोगों की नजरें इस बात पर टिक गईं कि वो इस जिम्मेदारी को कैसे संभालते हैं।
Gambhir comment on Gill: Either you will drown or you will become a world-class swimmer
टीम इंडिया के हेड कोच Gautam Gambhir ने Shubman Gill को कप्तान बनाए जाने के बाद की बातचीत को याद किया। उन्होंने कहा, “I told him one thing very clearly: ‘We have thrown you into a deep sea, and there are only two paths from here. Either you will drown or you will become a world-class swimmer‘,
गंभीर का ये बयान बताता है कि कप्तानी एक आसान जिम्मेदारी नहीं होती, खासकर जब सामने इंग्लैंड जैसी मजबूत टीम हो और खुद कप्तान भी सिर्फ 25-26 साल का हो। कोच ने ये भी कहा कि कप्तानी के दौरान रन बनाने से ज़्यादा ज़रूरी ये होता है कि खिलाड़ी कैसे खुद को और अपनी टीम को संभालता है।
गंभीर ने कहा,
“For me, those 750 runs don’t matter. If Shubman hadn’t made those 750 runs on the England tour, he would have made them on the next tour. Because of his quality. For me, the way a 25-year-old kid, with a young team, handled himself, his captaincy, handled the team, handled the pressure, against a quality England side (is what matters). I don’t think there is a test more difficult than that in captaincy,”
Gambhir comment on Gill: England में Gill की शानदार कप्तानी और बल्लेबाजी
गिल ने पांच मैचों की इस सीरीज़ में कुल 754 रन बनाए, जो किसी भी भारतीय कप्तान द्वारा एक सीरीज़ में सबसे ज्यादा रन हैं। उन्होंने ना सिर्फ कप्तान की भूमिका निभाई, बल्कि खुद सामने से लीड किया। इंग्लैंड की टीम के खिलाफ विदेशी ज़मीन पर 2-2 की बराबरी निकालना आसान नहीं होता, लेकिन गिल की अगुवाई में टीम इंडिया ने ये करके दिखाया।
इस परफॉर्मेंस ने ना सिर्फ गिल की बल्लेबाज़ी की क्वालिटी को साबित किया, बल्कि उनकी कप्तानी को भी लोगों ने खूब सराहा। टीम का संयोजन नया था, कई खिलाड़ी अनुभवहीन थे, फिर भी जिस तरह से गिल ने टीम को एकजुट रखा, वो काबिल-ए-तारीफ है।
गंभीर ने इस बात पर ज़ोर दिया कि असली Exam तभी होता है जब हालात मुश्किल हों। और इंग्लैंड की पिचों पर, दबाव में खेलते हुए टीम को संभालना, किसी भी कप्तान के लिए बड़ी चुनौती होती है।
शुभमन गिल ने दिखा दिया कि उनमें सिर्फ रन बनाने की नहीं, बल्कि एक सच्चे लीडर बनने की भी काबिलियत है। गौतम गंभीर का उन्हें कप्तान बनाने का फैसला रिस्की जरूर था, लेकिन गिल ने ये साबित कर दिया कि वो इस ज़िम्मेदारी के लायक हैं। अब सबकी निगाहें उनके अगले कदम पर हैं क्या वो इस भरोसे को लंबे समय तक बनाए रख पाएंगे?
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Test कप्तान बनने से पहले Gautam Gambhir ने Shubman Gill को कही थी ये दमदार बात