Azhar Ali resignation: पाकिस्तान क्रिकेट टीम के पूर्व टेस्ट कप्तान Azhar Ali ने अचानक राष्ट्रीय चयन समिति और नेशनल क्रिकेट एकेडमी में यूथ डेवलपमेंट हेड के पद से इस्तीफ़ा दे दिया। उनके करीबी एक भरोसेमंद सूत्र ने बताया कि अज़हर ने अपना इस्तीफ़ा पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड को भेज दिया था, और बोर्ड ने इसे तुरंत स्वीकार भी कर लिया। यह कदम उस वक्त सामने आया जब दूसरे पूर्व कप्तान सरफ़राज़ अहमद को पाकिस्तान शाहीन और अंडर-19 टीमों की पूरी कमान सौंप दी गई।
Azhar Ali resignation: क्या दबाव में आकर किया Resign
Source के मुताबिक Azhar Ali पिछले साल से सिलेक्टर और यूथ डेवलपमेंट विभाग के मुखिया के तौर पर काम कर रहे थे, लेकिन समय के साथ वे बोर्ड के काम करने के तरीके से परेशान होते जा रहे थे। उनका कहना था कि कई बार फाइलों और प्रक्रियाओं में बेवजह की देरी होती रहती थी, जिससे योजनाएँ आगे नहीं बढ़ पाती थीं। उन्होंने कुछ युवा खिलाड़ियों को तैयार करने के लिए कई सुझाव दिए थे, पर उनकी कई बातों को आगे नहीं बढ़ाया गया, जो उन्हें काफी खलता था।
Sarfaraz Ahmed को नया रोल देने पर बढ़ी नाराज़गी
सबसे ज़्यादा निराशा Azhar को तब हुई जब बोर्ड ने अचानक फैसला लेकर शाहीन और अंडर-19 क्रिकेट से जुड़ी सारी ज़िम्मेदारियाँ Sarfaraz Ahmed को देने का एलान कर दिया। Source ने बताया कि यह फैसला बिना अज़हर से बात किए ले लिया गया, जबकि यह क्षेत्र उनके काम का बड़ा हिस्सा था।
Azhar को लगा कि अब उनके पद का एक बड़ा हिस्सा Sarfaraz के पास चला जाएगा और यूथ डेवलपमेंट से जुड़ा उनका अधिकार सीधे कम हो जाएगा। उन्हें यह भी लगा कि यह बदलाव उनकी अनुमति या राय जाने बिना कर दिया गया है, इसलिए वे अब इस भूमिका में खुद को सही नहीं पा रहे थे। इसी कारण उन्होंने पद छोड़ने का फैसला कर लिया।
Azhar Ali resignation: Sarfaraz को दिए गए नए अधिकार और बोर्ड की पुरानी दिक्कतें
सरफ़राज़ अहमद पहले ही बोर्ड के साथ मेंटर और क्रिकेट अफेयर्स के सलाहकार के तौर पर जुड़े हुए थे। पिछले हफ़्ते उन्हें दोनों टीमों की पूरी ज़िम्मेदारी सौंप दी गई जिसमें कोचों के प्रदर्शन की निगरानी, खिलाड़ियों का चयन, ट्रेनिंग कैंप की तैयारी और यहाँ तक कि टीमों के साथ दौरे पर जाने का अधिकार भी शामिल है। इस बड़े रोल के बाद माना जा रहा है कि अब सरफ़राज़ यूथ क्रिकेट से जुड़ी लगभग हर चीज़ पर आख़िरी फैसला लेंगे।
पाकिस्तान क्रिकेट में ऐसा पहली बार नहीं हो रहा है। पिछले कुछ सालों में कई पूर्व खिलाड़ी और कोच यहाँ तक कि विदेशी कोच भी अपना कॉन्ट्रैक्ट पूरा होने से पहले ही या तो खुद हट गए या फिर बोर्ड ने उन्हें बाहर कर दिया। हाल ही में महिला टीम के हेड कोच मुहम्मद वसीम का कॉन्ट्रैक्ट भी वर्ल्ड कप में टीम के बेहद खराब प्रदर्शन के बाद बढ़ाया नहीं गया। टूर्नामेंट में पाकिस्तान आख़िरी स्थान पर रहा था, जिससे बोर्ड ने बड़ा फैसला लिया।
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