
भारतीय क्रिकेट टीम का अगला बड़ा लक्ष्य आईसीसी चैंपियंस ट्रॉफी 2025 है, जो 19 फरवरी से शुरू होगी। 2024 में टी20 वर्ल्ड कप जीतने के बाद टीम इंडिया अपनी लय बरकरार रखते हुए एक और आईसीसी ट्रॉफी अपने नाम करना चाहेगी। ऐसे में सवाल उठता है कि क्या श्रेयस अय्यर इस टूर्नामेंट में टीम इंडिया के लिए एक्स फैक्टर साबित हो सकते हैं।
दबाव में खेलने की काबिलियत
श्रेयस अय्यर अपनी शानदार बल्लेबाजी और मुश्किल परिस्थितियों में पारी संभालने की काबिलियत के लिए जाने जाते हैं। भारतीय टीम के मध्यक्रम को मजबूती देने में उनकी अहम भूमिका हो सकती है। खासकर स्पिन गेंदबाजी के खिलाफ उनकी तकनीक और अंत में पारी को तेज करने की क्षमता उन्हें टीम का एक महत्वपूर्ण हिस्सा बनाती है।
घरेलू क्रिकेट से शानदार वापसी
हालांकि, अय्यर ने अगस्त 2023 में श्रीलंका दौरे पर खेलते हुए औसत प्रदर्शन किया था, लेकिन घरेलू क्रिकेट में उन्होंने शानदार वापसी की। रणजी ट्रॉफी में उन्होंने चार मैचों में 452 रन बनाए, जिसमें उनका औसत 90.40 और स्ट्राइक रेट 88.80 रहा। सैयद मुश्ताक अली ट्रॉफी में उन्होंने नौ मैचों में 345 रन बनाए, जिसमें उनका स्ट्राइक रेट 188.52 था। इसके अलावा, विजय हजारे ट्रॉफी में पांच मैचों में 325 रन बनाकर उन्होंने अपनी काबिलियत साबित की।
अंतरराष्ट्रीय आंकड़े और अनुभव
श्रेयस अय्यर के नाम 14 टेस्ट, 62 वनडे और 51 टी20 मैचों में कुल 4,336 रन हैं। उनका वनडे औसत 39.77 और स्ट्राइक रेट 96.57 है। 2023 वर्ल्ड कप में उन्होंने 530 रन बनाए थे, जिसमें उनका औसत 66.25 और स्ट्राइक रेट 113.24 था। उनकी यह क्षमता उन्हें बड़े टूर्नामेंट के लिए एक अनुभवी और भरोसेमंद खिलाड़ी बनाती है।
टीम इंडिया के लिए अहम क्यों?
श्रेयस अय्यर का अनुभव और दबाव में खेलने की क्षमता भारत के लिए चैंपियंस ट्रॉफी 2025 में अहम साबित हो सकती है। मध्यक्रम में स्थिरता लाने और टीम को मुश्किल हालात से उबारने के लिए अय्यर जैसे खिलाड़ी जरूरी हैं। यदि उन्हें टीम से बाहर रखा गया, तो यह भारत के लिए एक बड़ी भूल साबित हो सकती है।
श्रेयस अय्यर के आंकड़े और हालिया प्रदर्शन इस बात का संकेत देते हैं कि वह टीम इंडिया के लिए एक बार फिर एक्स फैक्टर बन सकते हैं।