
तीसरे टेस्ट में इंग्लैंड ने भारत को लॉर्ड्स के ऐतिहासिक मैदान पर 22 रन से हरा दिया। इस मैच में इंग्लैंड ने वही जज़्बा दिखाया जो उसने छह साल पहले यहीं दिखाया था। टेस्ट का पाँचवाँ दिन भारत के लिए बड़ा भारी रहा। सोमवार सुबह से ही इंग्लैंड ने मैच पर पकड़ कस ली और भारत के बल्लेबाज़ दबाव में बिखरते चले गए।
जडेजा की दमदार पारी भी नहीं आई काम
रविंद्र जडेजा ने ज़ोरदार जज्बा दिखाया। उन्होंने मुश्किल हालात में 181 गेंदों में अर्धशतक बनाया। उनके साथ बुमराह और सिराज ने भी टिककर बल्लेबाज़ी की, लेकिन वो भारत को जीत तक नहीं ले जा पाए। जडेजा की इस हिम्मती पारी के बावजूद भारत 22 रन से हार गया।
जडेजा और इंग्लैंड के कप्तान बेन स्टोक्स ने मैदान पर अपना पूरा दम लगाया। स्टोक्स ने तो मानो अपनी सारी ताक़त झोंक दी। वो लगातार बॉलिंग करते रहे, पसीने से तरबतर होते हुए भी रुकने का नाम नहीं लिया। मैच खत्म होने के बाद जडेजा और स्टोक्स ने एक-दूसरे को गले लगाया। ये दिखाता है कि खेल में हार-जीत से बढ़कर सम्मान होता है।
भारत की बल्लेबाज़ी ने किया निराश
भारत को जीत के लिए 193 रन का छोटा सा लक्ष्य मिला था। सोमवार सुबह भारत को 135 रन और बनाने थे, और उनके पास छह विकेट बाकी थे। लेकिन जैसे ही खेल शुरू हुआ, इंग्लैंड के गेंदबाज़ों ने हमला बोल दिया। जोफ्रा आर्चर और स्टोक्स की तेज़ गेंदों ने भारतीय बल्लेबाज़ों की हालत खराब कर दी। रविवार शाम को ही भारत के टॉप ऑर्डर ने कई गलत शॉट खेलकर विकेट गवां दिए थे, जो आख़िर में भारी पड़ा।
सिराज का इमोशनल मोमेंट
आख़िर में भारत को मैच जिताने की उम्मीद सिराज और जडेजा पर थी। सिराज ने 30 गेंदों तक डटकर बल्लेबाज़ी की लेकिन वो भी ज्यादा देर नहीं टिक पाए। शुऐब बशीर की गेंद उनके डिफेंस से लगकर धीरे-धीरे स्टंप्स पर जा लगी। जैसे ही विकेट गिरा, सिराज ज़मीन पर घुटनों के बल बैठकर रोने लगे। इंग्लैंड के खिलाड़ियों ने भी आगे बढ़कर सिराज को संभाला। ये देखकर पता चलता है कि क्रिकेट सिर्फ एक खेल नहीं, बल्कि इमोशंस से भरा होता है।
लॉर्ड्स पर फिर इंग्लैंड की बादशाही
भारत इस हार के बाद सोच रहा होगा – अगर पहली पारी में निचला क्रम थोड़ा रन बना देता, अगर 63 एक्स्ट्रा रन नहीं दिए होते, या अगर टॉप ऑर्डर ने दूसरी पारी में धैर्य रखा होता, तो नतीजा कुछ और होता। लेकिन खेल में ‘अगर’ का कोई मतलब नहीं होता।
इस टेस्ट मैच में वो सब कुछ था जो टेस्ट क्रिकेट को खास बनाता है – दबाव, टकराव, इमोशंस, और आख़िर में सम्मान। भले ही भारत हार गया, लेकिन इस मैच ने फिर साबित कर दिया कि टेस्ट क्रिकेट आज भी सबसे रोमांचक फॉर्मेट है।
अब देखना होगा कि भारत अगले मैच में कैसे वापसी करता है। इंग्लैंड ने तो साफ दिखा दिया कि वो अपने घर में किसी को भी आसानी से जीतने नहीं देंगे।