भारत और इंग्लैंड के बीच चल रही पांच टेस्ट मैचों की सीरीज का दूसरा मुकाबला बर्मिंघम के एजबेस्टन मैदान पर खेला जा रहा है। इस मैच में जहां भारत पिछली हार के बाद वापसी की तलाश में है, वहीं इंग्लैंड की नजरें सीरीज में 2-0 की बढ़त बनाने पर टिकी हैं। लेकिन मैच की शुरुआत में एक नजारा देखने को मिला जिसने सबका ध्यान खींचा। दोनों टीमों के सभी खिलाड़ी काली पट्टी बांधकर मैदान पर उतरे।
आखिर क्यों बांधी गई काली पट्टी?
दरअसल, यह काली पट्टी पूर्व इंग्लैंड क्रिकेटर वेन लार्किन्स को श्रद्धांजलि देने के लिए बांधी गई थी। वेन लार्किन्स का हाल ही में 28 मई को 71 साल की उम्र में निधन हो गया। लार्किन्स ने 1979 से 1991 के बीच इंग्लैंड के लिए 13 टेस्ट और 25 वनडे मैच खेले थे। टेस्ट में उन्होंने 498 और वनडे में 591 रन बनाए थे। उनके नाम एक इंटरनेशनल शतक भी दर्ज है। इसके अलावा वह काउंटी क्रिकेट में नॉर्थम्पटनशर के लिए 482 प्रथम श्रेणी मैच खेलकर 27,000 से ज्यादा रन बना चुके थे।
ऐसे में इंग्लैंड क्रिकेट बोर्ड और खिलाड़ियों ने मिलकर यह फैसला लिया कि दूसरे टेस्ट में मैदान पर काली पट्टी बांधकर उतरकर उन्हें अंतिम श्रद्धांजलि दी जाए।
पहले टेस्ट में भी दिखी थी यही तस्वीर
गौर करने वाली बात यह है कि इससे पहले लीड्स में खेले गए पहले टेस्ट के दौरान भी खिलाड़ियों ने काली पट्टी पहनी थी। उस समय यह पट्टी अहमदाबाद में हुए प्लेन क्रैश के पीड़ितों और पूर्व खिलाड़ियों डेविड लॉरेंस तथा भारत के दिलीप दोशी की याद में बांधी गई थी। उस टेस्ट में खिलाड़ियों ने दिन 1, 3 और 5 पर काली पट्टी पहनी थी।
मैच की स्थिति और भारतीय बदलाव
अब अगर मैच की बात करें तो इंग्लैंड के कप्तान बेन स्टोक्स ने टॉस जीतकर पहले गेंदबाजी का फैसला किया। इंग्लैंड ने अपनी उसी प्लेइंग इलेवन को मैदान पर उतारा जिसने लीड्स में भारत को हराया था। दूसरी ओर भारत ने तीन बदलाव किए हैं। जसप्रीत बुमराह, साई सुदर्शन और शार्दुल ठाकुर को इस मैच में आराम दिया गया है। उनकी जगह आकाश दीप, वॉशिंगटन सुंदर और नितीश कुमार रेड्डी को प्लेइंग इलेवन में शामिल किया गया है।
बुमराह को क्यों दिया आराम?
जसप्रीत बुमराह को खासतौर से मैनेजमेंट ने आराम दिया है ताकि उनकी फिटनेस को लंबे सीजन में बनाए रखा जा सके। उम्मीद की जा रही है कि वह तीसरे टेस्ट से टीम में वापस लौट आएंगे।
कुल मिलाकर मैदान पर खिलाड़ियों की काली पट्टी सिर्फ एक रंग की पट्टी नहीं थी बल्कि क्रिकेट जगत के लिए अपने साथियों के प्रति सम्मान और संवेदनाओं का प्रतीक भी थी। ऐसी छोटी-छोटी चीजें दिखाती हैं कि खेल से बड़ा इंसानियत और एक-दूसरे के प्रति आदर होता है। इसी खेल भावना से भारत और इंग्लैंड के बीच यह सीरीज भी आगे बढ़ रही है।